1. -वायु धारा और ऊतकों के बीच ऊर्जा के आदान-प्रदान निरंतर कंपन में ऊतक नरम, लामिना 2. वायु धारा को एक उचित कोण एवं वेग से प्रवाहित करना चाहिये अन्यथा बांसुरी में वायु में कंपन नहीं होगा.3. वायु धारा को एक उचित कोण एवं वेग से प्रवाहित करना चाहिये अन्यथा बांसुरी में वायु में कंपन नहीं होगा.4. अधिक ध्वनि के लिये बांसुरी को अपेक्षाकृत बड़े अनुनादक, बड़ी वायु धारा या बड़े वायु धारा वेग का प्रयोग करना होगा. 5. अधिक ध्वनि के लिये बांसुरी को अपेक्षाकृत बड़े अनुनादक, बड़ी वायु धारा या बड़े वायु धारा वेग का प्रयोग करना होगा. 6. गैर फिपिल बांसुरी में वायु धारा निश्चित रूप में वादक के होठों से प्रवाहित होती है जिसे इंबोशर कहा जाता है. 7. गैर फिपिल बांसुरी में वायु धारा निश्चित रूप में वादक के होठों से प्रवाहित होती है जिसे इंबोशर कहा जाता है. 8. अधिक ध्वनि के लिये बांसुरी को अपेक्षाकृत बड़े अनुनादक, बड़ी वायु धारा या बड़े वायु धारा वेग का प्रयोग करना होगा. 9. अधिक ध्वनि के लिये बांसुरी को अपेक्षाकृत बड़े अनुनादक, बड़ी वायु धारा या बड़े वायु धारा वेग का प्रयोग करना होगा. 10. जब यंत्र के छिद्र के आर-पार वायु धारा प्रवाहित की जाती है, जिससे छिद्र पर वायु कंपन होने के कारण बांसुरी ध्वनि उत्पन्न करता है.